वो महलों में रहने वाली |
देखें है ढेरो लोग उसको कचरे के डिब्बे में डालने वाले
मुझे वहां भीख भी नशीब नहीं होने वाली |
वो अपने पालतू जानवरों को बादाम -पिस्ता खिलाने वाली |
मुझे एक वक़्त की रोटी नशीब ना होने वाली |
मुझे पेट भरने को सड़ा खाना भी नशीब नहीं होने वाला |
में तो उसी सड़े खाने की गुहार करने वाला |
देखें है ढेरो लोग उसको कचरे के डिब्बे में डालने वाले
मैं ताजे खाने की कयास छोड़कर, कचरे के डिब्बे से निकालकर खाने वाले |
मिला तो पेट भर लिया वरना भूखे पेट सोने वाले |
मिला तो पेट भर लिया वरना भूखे पेट सोने वाले |
No comments:
Post a Comment